नई दिल्ली: गूगल के सीईओ सुंदर पिचाई ने मंगलवार को घोषणा की कि कंपनी विशाखापट्टनम में भारत का पहला मेगा आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) हब स्थापित करेगी। उन्होंने बताया कि इस परियोजना की जानकारी उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को दी है और इसे एक “ऐतिहासिक कदम” बताया।
यह प्रोजेक्ट करीब 15 अरब डॉलर (लगभग ₹1.25 लाख करोड़ रुपये) का है और इसे 2026 से 2030 के बीच पूरा किया जाएगा। कंपनी के मुताबिक, यह भारत में गूगल का अब तक का सबसे बड़ा निवेश है।
पिचाई ने ‘एक्स’ पर पोस्ट करते हुए लिखा, “यह हब गीगावॉट-स्केल कंप्यूट क्षमता, एक नया अंतरराष्ट्रीय सबसी गेटवे और बड़े पैमाने पर ऊर्जा ढांचे को जोड़ता है। इसके माध्यम से हम भारत में एआई नवाचार को तेज करेंगे और देशभर में विकास को बढ़ावा देंगे।”
यह हब न केवल एआई विकास का केंद्र बनेगा, बल्कि विशाखापट्टनम को एक डिजिटल कनेक्टिविटी गेटवे के रूप में भी विकसित किया जाएगा। गूगल यहां अपना सबसी केबल नेटवर्क भी स्थापित करेगा, जो शहर को कंपनी के वैश्विक नेटवर्क से जोड़ेगा। कंपनी ने बताया कि यह गेटवे भारत की बढ़ती डिजिटल जरूरतों को पूरा करेगा और मुंबई व चेन्नई के मौजूदा केबल नेटवर्क का पूरक होगा।
यह घोषणा ‘भारत एआई शक्ति’ नामक कार्यक्रम में की गई, जो नई दिल्ली में आयोजित हुआ। इस मौके पर केंद्रीय मंत्री निर्मला सीतारमण, अश्विनी वैष्णव, आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री एन. चंद्रबाबू नायडू और गूगल क्लाउड के सीईओ थॉमस कुरियन मौजूद थे।
चंद्रबाबू नायडू ने कहा, “यह परियोजना भारत के डिजिटल परिवर्तन की यात्रा में एक नया अध्याय है। हमें गर्व है कि हम भारत का पहला गीगावॉट-स्तरीय डेटा सेंटर और गूगल का पहला एआई हब अपने राज्य में स्थापित कर रहे हैं।”