एग फ्रिजिंग एक ऐसी प्रक्रिया है जिसमें महिलाओं के अंडों को भविष्य में प्रेग्नेंसी के लिए फ्रीज करके सेफ रखा जाता है. यह उन महिलाओं के लिए एक बेहतरीन ऑप्शन होता है जो किसी कारणवश अपनी प्रेग्नेंसी को कुछ समय के लिए टालना चाहती हैं. लेकिन कई महिलाएं यह जानना चाहती हैं कि क्या एग फ्रिजिंग के कोई साइड इफेक्ट होते हैं. आइए, समझते हैं.
एग फ्रिजिंग की प्रक्रिया-
एग फ्रिजिंग में महिला के अंडाशय से अंडे निकाले जाते हैं, जिसे मेडिकल भाषा में "ओवम रिट्रीवल" कहा जाता है. इसके लिए सबसे पहले हार्मोनल दवाओं का उपयोग किया जाता है, जिससे अंडाशय में एक बार में कई अंडे बन सकें. फिर इन्हें एक मामूली सर्जिकल प्रक्रिया के जरिए निकाला जाता है और बेहद ठंडे तापमान पर फ्रीज कर दिया जाता है.
ये साइड इफेक्ट्स हो सकते है-
हार्मोनल दवाओं का प्रभाव- अंडाशय को उत्तेजित करने के लिए दी जाने वाली हार्मोनल दवाओं के कुछ साइड इफेक्ट हो सकते हैं, जैसे सिरदर्द, मितली, सूजन, या मूड स्विंग्स। ये प्रभाव अस्थायी होते हैं और कुछ दिनों में ठीक हो जाते हैं.
ओवेरियन हाइपरस्टिम्युलेशन सिंड्रोम - कुछ मामलों में, हार्मोनल दवाओं की वजह से ओवेरियन हाइपरस्टिम्युलेशन सिंड्रोम हो सकता है. इससे अंडाशय में सूजन और दर्द हो सकता है, लेकिन यह बहुत कम मामलों में ही होता है.
सर्जिकल जोखिम- अंडे निकालने की प्रक्रिया एक छोटी सी सर्जरी होती है, जिसमें संक्रमण या खून का बहाव का हल्का सा खतरा हो सकता है. हालांकि, यह जोखिम बहुत ही कम होता है और अधिकतर मामलों में कोई समस्या नहीं होती.
भावनात्मक प्रभाव: एग फ्रिजिंग की प्रक्रिया के दौरान कुछ महिलाएं भावनात्मक तनाव या चिंता महसूस कर सकती हैं. ऐसे में दोस्तों, परिवार, या काउंसलर की मदद लेना फायदेमंद हो सकता है.