नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर रविवार शाम को भारी भीड़ और अफरातफरी थी। हालांकि 24 घंटे पहले के मुकाबले हालात बेहतर थे। एक दिन पहले कुछ प्लेटफॉर्म पर भारी भीड़ के दौरान मची भगदड़ में 18 लोगों की जान चली गई थी। रविवार को भी कई लोग खिड़कियों से ट्रेन में सवार होते दिखे।
शनिवार रात करीब 10 बजे भगदड़ मची थी। अलग-अलग ट्रेनों के ऐलान से यात्रियों को भ्रम हुआ और वे सीढ़ियों से प्लेटफॉर्न नंबर 16 की ओर भागे। लगभग एक ही नाम की ट्रेनों का ऐलान हुआ था, जिसके बाद यात्रियों में अफरातफरी मच गई। सीढ़ी पर चढ़ने-उतरने वालों की वजह से जाम लग गया। कुछ यात्री फिसल कर गिर गए और फिर भगदड़ मच गई। हालांकि रविवार को यात्री पुलिस-प्रशासन की व्यवस्था से संतुष्ट थे।
रविवार को भीड़ की वजह से सीढ़ियों और पुल पर तिल रखने की भी जगह नहीं थी। कई लोगों को विशेष ट्रेन के बारे में जानकारी नहीं थी। प्रयागराज में चल रहे महाकुंभ में स्नान के लिए यात्रियों की भीड़ लगातार बनी हुई है। यात्रियों की भारी संख्या अधिकारियों के लिए सिरदर्दी बनी हुई है। रेल मंत्रालय ने भगदड़ की जांच के लिए दो सदस्यों की उच्च स्तरीय समिति का गठन किया है।
भगदड़ में मरने वालों के परिजनों को 10 लाख रुपया मुआवजा देने का ऐलान किया गया है। घायलों को ढाई लाख रुपये दिए जाएंगे। जिन्हें हल्की-फुल्की चोट लगी है, उन्हें मुआवजे के तौर पर एक लाख रुपया दिया जाएगा।