राजधानी दिल्ली में बिजली महंगी हो गई हैं। दिल्ली विद्युत नियामक आयोग ने पावर डिस्कॉम, बीवाईपीएल (बीएसईएस यमुना) और बीआरपीएल (बीएसईएस राजधानी) की बिजली की दरें बढ़ाने की मांग को स्वीकार कर लिया है। इस फैसले के बाद बीएसईएस क्षेत्रों में बिजली की दरें 10 फीसदी महंगी हो जाएंगी।
2019 में जब केजरीवाल सरकार लगातार दूसरी बार सत्ता में आई, तब उन्होंने फ्री बिजली की सब्सिडी को जारी रखा। लेकिन अब सरकार का कहना है कि, 200 यूनिट से ऊपर बिजली खर्च होने पर बढ़ा हुआ चार्ज देना पड़ेगा, इससे पहले जहां 100 रुपए भुगतान करना पड़ता था, वहां अब 108 रुपए कर दिया गया है।
AAP सरकार दिल्ली में सभी निवासियों को 200 यूनिट बिजली बिल्कुल फ्री देती है, जबकि 201 से 400 यूनिट तक आधा रेट लिया जाता हैं। दिल्ली में करीब 58 लाख घरेलू उपभोक्ता हैं जिसमें से 47 लाख बिजली उपभोक्ताओं को सब्सिडी मिलती है। 47 लाख उपभोक्ताओं में से 30 लाख उपभोक्ता ऐसे हैं जिनके बिजली के बिल जीरो आते हैं जबकि 17 लाख उपभोक्ताओं के बिल आधे आते हैं ।
बिजली और पानी एक ऐसा मुद्दा है जिस पर आम आदमी पार्टी की राजनीति टिकी हुई हैं, पार्टी हर चुनाव में विपक्ष को इन मुद्दों पर घेरती रहती हैं। पार्टी ने पंजाब में भी 300 यूनिट तक बिजली मुफ्त कर रखी हैं, लेकिन अब दिल्ली में बिजली के रेट में बढ़ोतरी के बाद विपक्ष आम आदमी पार्टी को घेर रहा हैं। अब देखना होगा की आम आदमी पार्टी इस मुद्दे से कैसे निपटती हैं।