"सुखी" (SUKHEE) को लेकर अभिनेत्री शिल्पा शेट्टी का मानना है कि ये नारीवादी संदेश देने वाली फिल्म नहीं है, बल्कि ये खुद से प्यार करने और अपने लिए खुशी पाने के बारे में है।
मीडिया से रूबरू होते हुए शिल्पा शेट्टी ने कहा, "सुखी ऐसी फिल्म नहीं है जहां हम नारीवादी होने की कोशिश कर रहे हैं या कह रहे हैं कि महिलाओं को घर की अपनी जिम्मेदारियों को भूल जाना चाहिए। हम ऐसा बिल्कुल नहीं कह रहे हैं। सुखी फिल्म के रूप में प्रासंगिक है, क्योंकि हमने इस तरह की कंडीशनिंग देखी हैं, जहां हमने अपनी माताओं को इस तरह से काम करते देखा है, और हमें लगता है कि क्योंकि वे इस तरह से काम करती हैं, हमें भी ऐसा करने की ज़रूरत है। हम उस अपराधबोध की वजह से इतने दुखी हो जाते हैं कि हम अपने लिए खुशी या समय नहीं निकाल पाते हैं और बदले में, हम आदमी को भी दुखी कर देते हैं।”
शेट्टी ने ये भी कहा कि ये फिल्म रिश्तों, लोगों और वे कैसे बदलते हैं, इस बारे में है।
"हम सभी के भीतर सुख है। शायद हम इसके बारे में बात नहीं करते हैं। हमारे बहुत सारे सपने हमारे अंदर दबे हुए हैं, लेकिन हम उन्हें मुखर नहीं करते हैं शायद क्योंकि हमारे पास समय नहीं है या हम उन्हें प्राथमिकता नहीं देना चाहते हैं। सुखी केवल महिलाओं के बारे में ही फिल्म नहीं है - ये रिश्तों, लोगों और लोग कैसे बदलते हैं - इसके बारे में है। पुरुषों के बारे में भी है, जिनके अपने संघर्ष हैं।
सोनल जोशी के निर्देशन में बनी "सुखी" में कुशा कपिला, अमित साध और पवलीन गुजराल भी हैं। ये 22 सितंबर को सिनेमाघरों में रिलीज होगी।