नई दिल्ली: लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने तृणमूल कांग्रेस सदस्य महुआ मोइत्रा के खिलाफ बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे की 'रिश्वत के बदले पूछताछ' शिकायत को निचले सदन की आचार समिति (एथिक्स पैनल) को भेज दिया है। निशिकांत दुबे ने महुआ मोइत्रा पर संसद में सवाल पूछने के लिए एक व्यवसायी से रिश्वत लेने का आरोप लगाया है और ओम बिड़ला से उनके खिलाफ आरोपों की जांच के लिए समिति गठित करने का आग्रह किया है।
महुआ मोइत्रा ने पलटवार करते हुए कहा कि वे लोकसभा अध्यक्ष के उनके खिलाफ लंबित आरोपों से निपटने के बाद उनके खिलाफ किसी भी कदम का स्वागत करती हैं। लोकसभा की आचार समिति के अध्यक्ष बीजेपी सदस्य विनोद कुमार सोनकर हैं।
रविवार को निशिकांत दुबे ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को संसद में 'क्वेरी फॉर कैश' का गंभीर 'विशेषाधिकार के उल्लंघन' के लिए महुआ मोइत्रा की सीधे शामिल होने का आरोप लगाया। वकील से मिले पत्र का हवाला देते हुए निशिकांत दुबे ने कहा कि वकील ने तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) नेता और एक व्यवसायी के बीच रिश्वत के आदान-प्रदान के "अकाट्य" सबूत साझा किए हैं।
स्पीकर को लिखे अपने पत्र में निशिकांत दुबे ने कहा कि लोकसभा में उनके पूछे गए 61 में से 50 प्रश्न अडाणी समूह पर केंद्रित थे, जिसे एक खास व्यापारिक समूह के हित के लिए टीएमसी सांसद ने पूछा था।